Thursday, 26 August 2021

..102 COUPLETS, 102POETS

मिलती है ग़म से रूह को इक लज़्ज़त - ए-हयात ।
जो ग़म-नसीब है वो बड़ा ख़ुश-नसीब है।
...... वफ़ा मलिकपुरी...

Grief imparts pleasure of life to soul.
 One stricken, has good fortune as a whole.

इधर उधर मिरी आँखें पुकारती हैं तुझे। 
मिरी निगाह नहीं है ज़बान है गोया। 
.... बिस्मिल सईदी....

My eyes keep calling you here and there. 
As if it isn't  eye but tongue everywhere. 

ये ज़िन्दगी की है रुदाद-ए-मुख़्तसर 'फ़ानी' ।
वजूद-ए-दर्द मुसल्लम इलाज ना-मालूम।

O 'Faani' this is tale of life in short.
Full fledged grief, no drug to report.

दर्द चेहरे से उजागर नहीं होने देता। 
मेरे अंदर का अदाकार बहुत अच्छा है। 
..... राज़िक़ अंसारी...

It allows no pain to show on face. 
Actor within me has very good place. 

आज तो दिल के दर्द पर हँस कर। 
दर्द का दिल दुखा दिया में ने। 
.... ज़ुबैर अली ताबिश.... 

Laughing today at pain of heart. 
I have hurt the pain at heart. 

अपनी नाकामियों पे आख़िर - ए-कार।
मुस्कुराना तो इख़्तियार में है 
....... क़मर जमील..... 

On my failures, finally in style. 
It's within my right to smile.

राज़ी हो तो राज़ी हो ख़फ़ा हो तो ख़फ़ा हो। 
हम कोई गुनहगार हैं तुम कोई ख़ुदा हो ?
...... अज्ञात.....

Whether you are happy or angry, so be it.
 You are no God, I am no culprit.

सहमी हुई थी सुब्ह की पहली किरन की तरह। 
उन की तरफ़ निगाह जो पहले पहल गई।
....... असर लखनवी.......

It was hesitant like the first morning ray.
When I looked at her first time that day. 

अब भागते हैं साया-ए-ज़ुल्फ़ - ए-बुताँ से हम।
कुछ दिल से हैं डरे हुए कुछ आसमाँ से हम।...... हाली......

Now I run away from the shadow of her tresses. 
Partly sky overhead and partly heart distresses.

'वसीम' देखना मुड़ मुड़ के वो उसी की तरफ़।
किसी को छोड़ के जाना भी तो नहीं आया।.... वसीम बरेलवी.....

O 'Waseem ' looking back at her again 'n again.
This is how  to leave, you could not retain ! 

ब-ज़ाहिर एक ही शब है फ़िराक़ - ए-यार मगर। 
कोई गुज़ारने बैठे तो उम्र सारी लगे। 
...... अहमद फ़राज़..... 

Night of separation is just one night. 
Spending, it stretches over life alright. 

ज़हिद ! समझ न किब्र जो हम चुप खड़े रहे। 
उस आस्ताँ के सजदे के क़ाबिल ये सर न था।... शाद अज़ीमाबादी..... 

O priest ! Not pride kept stiff my head. 
Unworthy of that door was my forehead! 

पूछा कि पाँव क्यूँ नहीं पड़ते ज़मीन पर। 
बोली सबा कि आते हैं उन की गली से हम। ..... मुज़्तर मुज़फ़्फ़रपुरी..... 

When asked why ground doesn't footprints gain. 
The breeze said, "I am coming from her lane." 

हवा पे दौड़ता है इस तरह से अब्र-ए-सियाह। 
कि जैसे जाए कोई फ़ील-ए-मस्त बे-ज़ंजीर।..... ज़ौक़..... 

So runs a dark dense cloud on windy terrain. 
As if an elephant in heat is going without chain. 

जो तेरी याद दिलाता था फड़फड़ाता था। 
मुँडेर से वो परिंदा उड़ा दिया मैंने। 
......... अंजुम रहबर........ 

One who fluttered, reminded me of you. 
From the parapet that bird was freed too. 

मेह बरसे है किस लुत्फ़ से और जाम तेही है। 
साक़ी तिरी सरकार में इंसाफ़ यही है। 
........ नसीर......... 

The cup is empty and there's grace in rain. 
O wine girl ! Just way to run this domain? 

हाँ याद है किसी की वो पहली निगाह - ए-लुत्फ़। 
फिर ख़ूँ को यूँ न देखा रगों में रवाँ कभी। 
.... आनन्द नारायण मुल्ला...... 

Yes, I recollect someone 's first loving sight. 
Never again did I feel blood in veins in flight. 

बिखरी हुई वो ज़ुल्फ़ इशारों में कह गई। 
मैं भी शरीक हूँ तिरे हाल-ए-तबाह में। 
........ जलील मानिकपुरी...... 

Her disorganised tress told in stylish sign. 
I played a part in your dis- mantled design. 

दौर था एक गुज़र गया, नशा था एक उतर गया। 
अब वो मोकाम है जहाँ, शिकवा-ए-बेरुख़ी नहीं।...... अहसान दानिश...... 

An intoxicant not in roar, a time that's now no more. 
I am now at that site, don't mind being out of sight. 

जिस में हो याद भी तिरी शामिल। 
हाय! उस बे-ख़ुदी को क्या कहिए? 
...... रविश सिद्दीक़ी.... 

Where your memory is part of game, 
Being so senseless, what to name ? 

मुझ को तो होश नहीं तुम को ख़बर हो शायद। 
लोग कहते हैं कि तुम ने मुझे बर्बाद किया।..... जोश मलीहाबादी...... 

I don't recollect but probably you know. 
That you have destroyed me, people say so. 

राह में बैठा हूँ मैं तुम संग-ए-रह समझो मुझे। 
आदमी बन जाऊँगा कुछ ठोकरें खाने के बाद।..... बेख़ुद देहलवी..... 

I am sitting on the way, for you a block to stay. 
I'll also become a man, after kicks as a block can. 

वही ख़ाना-ब-दोश उम्मीदैं। 
वही बे-सब्र दिल की ख़ू है अभी। 
....... अदा जाफ़री...... 

Hopes that search in every part. 
Same habit of dis-satisfied heart. 

न ख़ौफ़-ए-आह बुतों को न डर है नालों का। 
बड़ा कलेजा है इन दिल दुखाने वालों का।... जामिन अली जलाल...... 

Neither cute dames are afraid of sigh nor cry. 
Those who hurt the hearts, hold the heads high. 

हुस्न को इक हुस्न ही समझे नहीं हम ऐ 'फ़िराक़' ।
मेहरबाँ नामेहरबाँ क्या क्या समझ बैठे थे हम। 

O 'Firaaq' I did not think of beauty as beauty alone. 
I took it for a courteous,  uncourteous clone. 

न परवाह की हमारी कारवाँ ने जब तो फिर हम भी। 
बिछड़ कर कारवाँ से क्यूँ तलाश-ए-कारवाँ करते।... वहशत कलकतवी... 

When the caravan did not care for us. 
Departed, why search for it, make a fuss. 

सुकून-ए-दिल जहाँ में बेश-ओ-कम हैं ढूँढने वाले। 
यहाँ हर चीज़ मिलती है सुकून - ए-दिल नहीं मिलता।....जगन्नाथ आज़ाद... 

In this world why search for peace of heart, more or less. 
But for peace of heart, every thing else is in this mess. 

दिल दे तो इस मिज़ाज का परवर-दिगार दे। 
जो रंज की घड़ी भी ख़ुशी में गुज़ार दे। 
...... दाग़ देहलवी...... 

O Almighty ! Grant me a heart of that type. 
Which passes sad times in a pleasant hype. 

अल्लह रे शाम-ए-ग़म मिरे दिल की शिकस्तगी। 
तारों का टूटना भी मुझे ना-गवार
 था।... सीमाब अकबराबादी..... 

O God ! On eve' of grief, my broken heart was ajar. 
For me, disgusting was falling star from afar. 

अमीर-ए-शहर के कुछ कारोबार याद आए। 
मैं रात सोच रहा था हराम क्या क्या है ? 
...... राहत इन्दौरी.... 

I just remembered some city-rich  needs. 
At night, I was counting the forbidden deeds. 

वो भी शायद रो पड़े वीरान काग़ज़ देख कर। 
मैंने उस को आख़िरी ख़त में लिखा कुछ भी नहीं।... ज़ुहूर नज़र..... 

May be, she'll weep seeing paper blank, unquote. 
In last letter to her, it was nothing I wrote. 

हिचकियों पर हो रहा है ज़िन्दगी का राग ख़त्म। 
झटके दे कर तार तोड़े जा रहे हैं साज़ के।..... नातिक़ गुलाटी......

With hiccups, music of life comes to stop. 
Strings of musical set are avulsed to flop. 

चैन मर कर तह-ए-ज़मीं भी नहीं। 
अब ठिकाना मेरा कहीं भी नहीं।... रियाज़

There's no peace even under earth. 
No where now I have a berth. 

ख़ुद गिरे लेकिन छलकने दी न मय। 
अपने सर ले लीं बलाएँ जाम की।.. औज

I fell but didn't allow wine to spill.
Calamities of cup were mine to the fill. 

अंगूर में थी ये मय पानी की चंद बूँदें। 
जिस दिन से खिंच गई है तलवार हो गई है।....... अमीर मीनाई...... 

In the grape was just a few water drops, this wine. 
The day it was strained, became sword with a shine. 

बड़ी इहतियात-तलब है ये जो शराब साग़र-ए-दिल में है। 
जो छलक गई तो छलक गई जो भरी रही तो भरी रही।......बेनज़ीर शाह....... 

It's very much worth saving, the
wine in heart pot. 
If it spills, is spilt,otherwise full is  pot's lot. 

मैं तेरी हैरत-ए-मासूम के सदक़े ये न पूछ। मौत क्यों दर्द का दरमाँ नज़र आती है मुझे।..... अख़्तर अलीगढ़ी ...... 

My offerings for your childish wonder, don't enquire. 
Why death looks like drug for this painful attire . 

मर्ग एक मुंदगी का आलम है। 
यानि आगे चलेंगे ़दम ले कर।... मीर.. 

A period of weakness and rest is death. 
It means, you 'll go ahead with new breath. 

उस महफ़िल में प्यास की इज़्ज़त करने वाला होगा कौन। 
जिस महफ़िल में तोड़ रहे हों आँखों से पैमाने लोग।..... राही मासूम रज़ा..... 

In that gathering, who will respect the thirst. 
Where people break goblets with eyes first. 

मुझे दुश्मन से भी ख़ुद्दारी की उम्मीद रहती है। 
किसी का भी हो सर क़दमों में सर अच्छा नहीं लगता।.... जावेद अख़्तर....... 

I expect self respect even from the foes. 
Be it any one's head, looks no good on toes. 

मैं हूँ वो नंग-ए-ख़ल्क़ कि कहती फिरे है ख़ाक। 
इस को बना के क्यूँ मिरी मिट्टी ख़राब की।........ ज़िया बेग़म ज़िया......... 

I am so down trodden, dust goes places to tell by name.
Why shaped him out of me and put my name to shame. 

मैं जो सर-ब-सजदा कभी हुआ तो ज़मीं से आने लगी सदा। 
तिरा दिल तो है सनम-आश्ना तुझे क्या मिलेगा नमाज़ में ।.... इक़बाल.... 

In sajda when head touched ground, from earth emerged a sound. 
Your heart is idol-bound,in prayer what's there to be found. 

वीरानी कुछ इस दर्जा नज़रों में समाई है। 
गुलशन भी हमें 'नय्यर' सहरा नज़र आता है।.. सैयद मोहसिन हसन  नय्यर... 

So set is the desert in the eyes of my mind. 
'Nayyar' looks at a garden as desert of a kind. 

अब आई याद ऐ जान-ए-जहाँ इस ना-मुरादी में। 
कफ़न देना तुझे भूले थे हम असबाब-ए-शादी में। 

Now I clearly recall, O beloved of all, as all my desires fall.
 In baggage you got, a shroud I forgot, to pack with marital lot. 

उड़ते उड़ते आस का पंछी दूर उफ़क़ में डूब गया। 
रोते रोते बैठ गई आवाज़ किसी सौदाई की।...... क़तील शफ़ाई..... 

The bird of desire, to horizon flew  on  course. 
Lover kept crying, till his voice got hoarse. 

कितना है बद-नसीब 'ज़फ़र' दफ़्न के लिए। 
दो ग़ज़ ज़मीन भी न मिली कूए-यार में। 

How unfortunate is 'Zafar' that for burial remains. 
Two yards of land was not in darling's lanes. 

ज़िन्दगी क्या है अनासिर में ज़हूर-ए-तरतीब। 
मौत क्या है इन्हीं अजज़ा का परेशाँ होना।... पं0 ब्रज नारायण चकबस्त... 

Elements of universe, in life organise. 
These scatter apart, it's called demise. 

न कोई दर है न दीवार न रौज़न 'कामिल' 
हाय मुझको मेरे अहबाब कहाँ छोड़ चले ।

No wall to climb out of, no window, no door. 
My relatives had a place for 'Kamil' in store ! 

ये नर्म नर्म घास ये फूलों भरी ज़मीं। 
इक दिन बहा था ख़ून का दरिया यहीं
कहीं।... ज़फ़र इक़बाल..... 

The silk soft grass, this flower rich land. 
A stream of blood once swept this sand. 

वो बात सारे फ़साने में जिस का ज़िक्र न था। 
वो बात उन को बहुत ना-गवार गुज़री है। 
..... फ़ैज़ अहमद फ़ैज़...... 

Something that never was a part of the tale. 
Had hurt him deep and left a trail. 

गर्दिश-ए-वक़्त भी आगे मुझे ले जा न सकी। 
तुम जहाँ छोड़ गए थे मैं वहीं हूँ अब तक। 
....... आल-ए-अहमद सुरूर...... 

The passage of time hasn't pushed me a lot. 
I am still where you left, in the same slot. 

इक समंदर के प्यासे किनारे थे हम, अपना पैग़ाम लाती थी मौज-ए-रवाँ ।
आज दो रेल की पटरियों की तरह, साथ चलना है और बोलना तक नहीं ।
....... बशीर बद्र.... 

Each wave read our message aloud, we were like a thirsty sea - shore. 
Now distanced like parallel rails, we stay together but talk no more. 

या-रब न वो समझे हैं न समझेंगे मिरी बात। 
दे और दिल उन को जो न दे मुझ को ज़ुबाँ और।....... ग़ालिब..... 

She does not and will not understand me O Lord ! 
Give more heart to her, if not words to me accord. 

जान कर मिन्जुम्ल-ए-ख़ासान-ए-मय-ख़ाना मुझे। 
मुद्दतों रोया करेंगे जाम-ओ-पैमाना मुझे। 
...... जिगर मुरादाबादी.... 

Of this tavern, I am an integral part. 
Wine cups will cry when I depart. 

'मुसहफ़ी' हम तो ये समझे थे कि होगा कोई ज़ख़्म। 
तेरे दिल में तो बड़ा काम रफ़ू का निकला 

'Musahafi' I had thought there was a little tear. 
Your heart needs a lot of patchwork, I fear. 

अदब-आमोज़ है मय-खाने का ज़र्रा ज़र्रा। सैकड़ों तरह से आ जाता है सजदा करना।..... आसी उलदनी..... 

Manners are taught by each dirt grain of tavern. 
Hundreds of ways to perform sajda, you can learn. 

ग़म की बारिश ने भी तेरे नक़्श को धोया नहीं। 
तूने मुझको खो दिया मैंने तुझे खोया नहीं।.... मुनीर नियाज़ी....... 

Your prints weren't washed by rain of pain. 
You have lost me, even though I retain. 

तेरे ख़त आज लतीफ़ों की तरह लगते हैं। 
ख़ूब हँसता हूँ जहाँ लफ़्ज़ - ए-वफ़ा आता है।...... ज़ुबैर अली ताबिश...... 

Now your letters look like jokes
I laugh a lot when word 'chaste' pokes. 

अपने जलने में किसी को नहीं करते हैं शरीक। 
रात हो जाय तो हम शम'अ बुझा देते हैं। 
....... सबा अकबराबादी.... 

In my burning, I don't want other' s stamp. 
When night sets in, I put out the lamp. 

आशिक़ सा बद-नसीब कोई दूसरा न हो। 
माशूक़ ख़ुद भी चाहे तो उस का भला न हो।...... हफ़ीज़ जालंधरी..... 

May none be as unfortunate as a lover. 
Even if  beloved so wants, it is all over. 

क्यूँ आईना कहें उसे पत्थर न क्यूँ कहें। 
जिस आईने में अक्स न उन का दिखाई दे।..... कृष्ण बिहारी नूर....... 

Why call it a mirror, why not a stone ? 
A mirror where her reflection isn't shown. 

जहाँ तलक भी ये सहरा दिखाई देता है। 
मिरी तरह ही अकेला दिखाई देता है। 
....... शकेब जलाली...... 

As far as this desert is seen. 
It is lonely, as I have been. 

न रुकी वक़्त की गर्दिश न ज़माना बदला। पेड़ सूखा तो परिंदों ने ठिकाना बदला।
...... लियाक़त अली आसिम..... 

Neither time stopped nor the world ever changed. 
When a tree dried, nesting site of birds changed. 

घर में ख़ुद को क़ैद तो मैंने आज किया है। तब भी तन्हा था जब महफ़िल महफ़िल था मैं।.... शारिक़ कैफ़ी...

Today I have imprisoned myself at home. 
I was alone when I could freely roam. 

गो तिरी ज़ुल्फ़ों का ज़िन्दानी हूँ मैं ।
भूल मत जाना कि सैलानी हूँ मैं।... अदम

Although I am in your tress-bond. 
Do not forget,  I am a vagabond. 

काँटों से दिल लगाओ जो ता-उम्र साथ दें। फूलों का क्या कि साँस की गर्मी न सह सकें।..... अख़्तर शीरानी.... 

Love thorns that stay with you till death. 
Flowers can't bear even heat of breath.

कितनी दिलकश हो तुम कितना दिल- जू हूँ मैं ।
क्या सितम है कि हम लोग मर जाएँगे। 
....... जौन एलिया..... 
You are so savory , so encouraging am I? 
It's  oppression that we shall die.

किसी के ऐब छुपाना सवाब है लेकिन। 
कभी कभी कोई पर्दा उठाना पड़ता है। 
........... इज़हार इनायती..... 
It is good to hide someone 's vice. 
Some times, raising the curtain is nice. 

 मोहब्बतें तो फ़क़त इंतिहाएँ माँगती हैं। 
मोहब्बतों में भला ऐ' तिदाल क्या करना? 
...... हसन अब्बास रज़ा...... 

Love asks only for the extreme.
Why moderate love, let it beam

तुम ने किस कैफ़ियत से मुख़ातिब किया 
कैफ़ देता रहा लफ़्ज़ - ए-तू देर तक। 
..... अंबरीन नसीब अंबर.... 

In which state was I addressed by you? 
For long, intoxicating was word you. 

मैंने ये सोच के बोए नहीं ख़्वाबों के दरख़्त। 
कौन जंगल मे उगे पेड़ को पानी देगा ? 
.... अज़ीज़ बानो दरब वफ़ा.... 

So thinking I didn't sow dream-tree. 
Who would water it in jungle for free ? 

लफ़्ज़ की क़ैद से रिहा हो जा। 
आ मिरी आँख से अदा हो जा।
....... तौक़ीर तक़ी.......

Released from the bond of time, be your own. 
Come through my eyes, pay off the loan. 

तिरा वस्ल है मुझे बे-ख़ुदी, तिरा हिज्र है मुझे आगही। 
तिरा वस्ल मुझ को फ़िराक़ है, तिरा हिज्र मुझ को विसाल है।
..... ..जलालुद्दीन अकबर....... 

Ecstatic while meeting you, I am aware when you are away. 
Your union is losing the self and departure a meeting day. 

मिलना तुमन का ग़ैर से कोई झूट कोई सचमुच कहे। 
किस किस का मुँह मूँदूँ सनम कोई कुछ कहे कोई कुछ कहे।.. वली दकनी... 

Your meetings with my rival, is it truth or lie ? 
People say many things, whose tongue can I tie ? 

'खुसरो' रैन सुहाग की, जागी पी के संग। 
तन मेरो मन पीउ को, दोउ भए एकरंग। 

O 'Khusro'! On first night, both of us were awake. 
My body to his desire, could one colour take. 

दुनिया ने तजुर्बात-ओ-हवादिस की शक्ल में। 
जो कुछ मुझे दिया है वो लौटा रहा हूँ मैं। 
...... साहिर लुधियानवी....... 

What  world gave in name of experience, mishaps. 
What I have received, am returning it, perhaps ! 

उफ़ री शबनम ! इस क़दर  नादानियाँ? 
मोतियों को घास पर बिखरा दिया ! 
....... आग़ा शायर देहलवी....... 

O dew ! Is it the prank of a child ? 
Pearl's scattered on grass in the wild !

दास्ताँ उस की अदाओं की है रंगीं लेकिन। उस में कुछ ख़ून-ए-तमन्ना भी है शामिल मेरा।..... असग़र गौंडवी..... 

Her poses and styles make a colourful tale. 
But for blood of my desires, it 'll all look pale. 

है रूह तारीकियों में हैराँ, बुझा हुआ है चराग़-ए-मंज़िल। 
कहीं सर-ए-राह ये मुसाफ़िर पटक न दे बोझ ज़िन्दगी का।... जमीर मज़हरी... 

Soul is worried' n in dark, lamp at goal emits no ray. 
May be that this traveller drops, weight of life on his way. 

मैं इसे शोहरत कहूँ या अपनी रुस्वाई कहूँ। 
मुझ से पहले उस गली में मूरे अफ़साने गए।...... ख़ातिर ग़ज़नवी...... 

Should I label it my fame or a disgrace, spot of dark ! 
That before me in that lane, my tales had left clear mark. 

दिल सुलगता है इसी सर्द रवैये से मेरा। 
देख इस बर्फ़ ने क्या आग लगा रक्खी है। 
........ अनवर मसूद....... 

My heart is aflame with your cold attitude. 
See ! How ice can set things on fire, O dude. 

आख़िर इक रोज़ तो पैबंद-ए-ज़मीं होना है। 
जामा-ए-ज़ीस्त नया और पुराना कैसा ! 
...... माधव राम जौहर...... 

  After all some day, all of us will get dust-bowled. 
What's a difference if life colour is new or old. 

मिरे दिल के किसी कोने में इक मासूम सा बच्चा। 
बड़ों की देख कर दुनिया बड़ा होने से डरता है।..... राजेश रेड्डी..... 

An innocent child in a silent corner of my heart. 
Seeing grown up world, is afraid of being it's part. 

कोई तोहमत हो, मेरे नाम चली आती है। 
जैसे बाज़ार में हर घर से गली आती है। 
...... अंजुम ख़याली ...... 

Any allegation, simply comes in my name. 
All lanes connect with the market of fame. 

सियह-बख़्ती में कब कोई किसी का साथ देता है। 
कि तारीकी में साया भी जुदा होता है इंसाँ से......... नासिख़....... 

During ill fate, who will on your side park ? 
Even shade leaves man when it gets dark. 

मजलिस-ए-वाज़ तो ता-देर रहेगी क़ायम।
ये है मय-ख़ाना ! अभी पी के चले आते हैं।..... अज्ञात....... 

The discourse of priest is known for long track. 
Tavern is nearby, let's drink and come back. 

'अनीस' आसाँ नहीं आबाद करना घर मोहब्बत का। 
ये उन का काम है जो ज़िन्दगी बर्बाद करते हैं। 

Inhabiting house of love is no easy matter. 
Some do it, but with their life on platter. 

ये मय छलक के भी उस हुस्न तक पहुँच न स्की। 
ये फूल खिल के भी तेरा शबाब हो न सके।.... अख़्तर शीरानी.... 

Your beauty couldn't be touched even with splash of wine. 
Flowers bloomed, yet could not reach the youth of thine. 

फ़सुर्दा दिल हूँ, मुझे क्या कि कोई मौसम हो। 
भरी बहार में क्या था जो अब ख़िज़ाँ में नहीं।.... रियाज़ ख़ैराबादी.... 

My heart is unconcerned, what ever be the weather. 
What was in spring and not in autumn altogether. 

वो अपने दर के फ़क़ीरों से पूछते भी नहीं। कि तुम लगाए हुए किस की आस बैठे हो।.... तअश्शुक़..... 

She doesn't even enquire from beggars at her door. 
What for are you sitting, what needs be in store ? 

उड़ते उड़ते आस का पंछी दूर उफ़क़ में डूब गया। 
रोते रोते बैठ गई आवाज़ किसी सौदाई की।...... क़तील शफ़ाई...... 

Bird of hope kept flying in horizon on it's course. 
Mad lover kept crying till his voice got hoarse. 

यही शान-ए-करीमी है यही कार-ए-चमनबंदी। 
कि जब ग़ुंचे का दिल शक़ हो तो गुल का पैरहन जागे।... ख़ुर्शीद - उल-इस्लाम... 

It is divine grace and the way this garden grows. 
When a bud breaks open, colour in flower shows. 

तर दामनी पे शैख़ हमारी न जाइयो। 
दामन निचोड़ दें तो फ़रिश्ते वुज़ू करें। 

You know not O sheikh, where my wet cloak stands. 
If I squeeze it, the angels will wash their hands. 





















 



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