Saturday, 15 January 2022

COUPLETS OF MANY POETS 68

आता  हूँ मैं ज़माने की आँखों में रात दिन। लेकिन ख़ुद अपनी नज़रों से अब तक निहाँ हूँ मैं।..... अमीक़ हनफ़ी......

I am getting in  the eyes of world day and night.
But from my own eyes I am still out of sight.

ग़म-ए-फ़िराक़ के सीने से लग के सोने दो।
शब-ए-तवील की होगी सहर कभी न कभी।...... करामत अली करामत.......

Let the pain of parting sleep in embrace.
Long may be night, but morning will grace. 

मैं बिखर जाऊँगा ज़ंजीर की कड़ियों की तरह। 
और रह जाएगी इस दश्त में झंकार मिरी।...... ज़फ़र इक़बाल...... 

I will scatter like loops of chain. My jingle will in stretch remain. 

ज़ख़्म लगा कर उस का भी कुछ हाथ खुला। 
मैं भी धोका खाकर कुछ चालाक हुआ। 
....... ज़ैब गौरी....... 

Inflicting a wound improved his hand. 
After delusion, was clever my stand. 

क्यों तिरे शहर के इंसान हैं पत्थर की तरह। 
कोई नग़्मा, कोई पायल, कोई झंकार नहीं।...... कामिल वहज़ादी...... 

Why people ot your city resemble a stone. 
No song, no anklet, no jingle in tone. 

ये जब्र भी देखा है तारीख़ की नज़रों ने। 
लम्हों ने ख़ता की थी सदियों ने सज़ा पाई।..... इफ़्तिख़ार आरिफ़...... 

The eyes of history saw such an outrage. 
It was fault of moments and torment for age. 

उन के देखे से जो आ जाती है मुँह पर रौनक़। 
वो समझते हैं कि बीमार का हाल अच्छा है।....... ग़ालिब........ 

Seeing her there's glow on my face, it would. 
She thinks that condition of the patient is good. 

ख़ुदी को कर बुलंद इतना, कि हर तदबीर से पहले। 
ख़ुदा बंदे से ख़ुद पूछे, बता तेरी रज़ा क्या है ?....... इक़बाल....... 

So high be self esteem, before each fate it should seem. 
From man God would find, what have you got in mind ? 

अब तो इतनी भी मयस्सर नहीं मय-ख़ाने में। 
जितनी हम छोड़ दिया करते थे पैमाने में। 
.......... दिवाकर राही..... 

In tavern, even this little isn't there. 
That I used to leave in cup without care. 

दिल में ज़ौक़-ए-वस्ल-ओ-याद-ए-यार तक बाक़ी नहीं। 
आग इस घर में लगी ऐसी कि जो था जल गया।........ ग़ालिब....... 

Neither the desire to meet her, nor  memories stay in heart. 
Fire engulfed the house, there was nothing left to chart. 

था ज़िन्दगी में मौत का ख़तरा लगा हुआ। उड़ने से पेशतर भी मेरा रंग ज़र्द था। 
......... ग़ालिब....... 

Even when alive, death zoomed so near. 
Even before flight, I was yellow with fear. 

किस से महरूमी-ए-क़िस्मत की शिकायत कीजे। 
हम ने चाहा था कि मर जाएँ सो वो भी न हुआ।.........ग़ालिब....... 

 For lack of luck whom should I complain. 
I wanted to die but then had to refrain. 

पकड़े जाते हैं फ़रिश्तों के कहे पर नाहक़। आदमी कोई हमारा दम-ए-तहरीर भी था।.......... ग़ालिब......... 

I was caught because angels so wrote. 
Was there any evidence of man to quote. 

यहाँ लिबास की क़ीमत है आदमी की नहीं। 
मुझे गिलास बड़े दे शराब कम कर दे। 
....... बशीर बद्र..... 

Here clothes, not man within determine class. 
Give me a little wine in a bigger glass. 

नहीं आती तो याद उन की महीनों तक नहीं आती। 
मगर जब याद आते हैं तो अक्सर याद आते हैं।...... हसरत मोहानी...... 

When her memory doesn't appear, it may be months or an year. 
But when she starts coming to mind, quite often it is, I find. 

सैर कर दुनिया की ग़ाफ़िल जिंदगानी फिर कहाँ। 
ज़िन्दगी गर कुछ रही तो ये जवानी फिर कहाँ।...... ख्वाजा मीर दर्द..... 

Travel world unaware, this life won't be there. 
Even if life remains, the youth never sustains. 

अंदाज़ अपना देखते हैं आईने में वो। 
और ये भी देखते हैं कोई देखता न हो। 
...... निज़ाम रामपुरी ...... 

Within mirror, she is looking at style of her own. 
And also keeps track that to none it's shown. 

दिल में किसी के राह किए जा रहा मैं। 
कितना हसीं गुनाह किए जा रहा हूँ मैं। 
 ........ जिगर मुरादाबादी  ...      ..... 

I am making way in some  heart. 
What a beautiful sin it is on my part. 

इन्हीं पत्थरों पे चल कर अगर आ सको तो आओ। 
मिरे घर के रास्ते में कोई कहकशाँ नहीं है।...... मुस्तफ़ा ज़ैदी....... 

Walking on these stones, come if you can. 
There's no milky-way in my home span. 

पत्ता पत्ता बूटा बूटा हाल हमारा जाने है। 
जाने न जाने गुल ही न जाने बाग़ तो सारा जाने है।.... मीर तक़ी मीर...... 

Each leaf, each branch knows well my state. 
Only flower isn't aware, whole garden knows mate. 

बड़े लोगों से मिलने में हमेशा फ़ासला रखना। 
जहाँ दरिया समंदर से मिला दरिया नहीं रहता।........ बशीर बद्र...... 

While meeting the big wigs some distance should be kept. 
When the river meets  an ocean it is simply inswept. 

राह-ए-दूर-ए-इश्क़ में रोता है क्या। 
आगे आगे देखिये होता है क्या।.... मीर.. 

The route of love is long, why weep for it ?
Just see what is coming and keep for it. 

ज़िन्दगी तूने मुझे क़ब्र से कम दी है ज़मीं। 
पाँव फैलाऊँ तो दीवार में सर लगता है। 
........ बशीर बद्र....... 

O life, lesser than grave, to me land that you gave. 
Stretching feet at all, head bangs against the wall. 

माना कि तेरी दीद के क़ाबिल नहीं हूँ मैं। 
तू मेरा शौक़ देख मिरा इंतिज़ार देख। 
.......... इक़बाल....... 

I am not worthy of your look, well that's true. 
You look at my ardour, how I have longed for you ? 

बहुत पहले से उन क़दमों की आहट जान लेते हैं। 
तुझे ऐ ज़िन्दगी हम दूर से पहचान लेते हैं।........ फ़िराक़ गोरखपुरी...... 

Much before her arrival, I am aware of her footfall. 
From a distance O life, I recognise you after all. 

एक मुद्दत से तिरी याद भी आई न हमें। 
और हम भूल गए हों तुझे ऐसा भी नहीं। 
......... फ़िराक़ गोरखपुरी....... 

Your memory didn't visit me since long. 
But it isn't that I have forgotten you along. 

चुपके चुपके रात दिन आँसू बहाना याद है। 
हम को अब तक आशिक़ी का वो ज़माना याद है।.... हसरत मोहानी..... 

Silently shedding tears night and day. 
I still remember time of love, it's stay. 

दोनों जहान तेरी मोहब्बत में हार के। 
वो जा रहा है कोई शब-ए-ग़म गुज़ार के। 
....... फ़ैज़ अहमद फ़ैज़.... 

Losing both the worlds in your love, he has gone. 
He is leaving, spending a painful night alone. 

 जहाँ रहेगा वहीं रौशनी लुटाएगा। 
किसी चराग़ का अपना मकाँ नहीं होता ।
......... वसीम बरेलवी......

Wherever it stays, light will be thrown. 
No lamp has a house of it's own. 

याद है अब तक तुझ से बिछड़ने की वो अंधेरी शाम मुझे। 
तू ख़ामोश खड़ा था लेकिन बातें करता था काजल।...... नासिर काज़मी....... 

I still remember our dark evening to depart. 
You were silent but kohl talked on your part. 

 इस सादगी पे कौन न मर जाए ऐ ख़ुदा। 
लड़ते हैं और हाथ में तलवार भी नहीं। 
.......... ग़ालिब........ 

Who won't die on this simplicity O Lord ! 
She is in fight, but missing out is  sword ! 

अपने चेहरे से जो ज़ाहिर है छुपाएँ कैसे। 
तेरी मर्ज़ी के मुताबिक़ नज़र आएँ कैसे ? 
....... वसीम बरेलवी..... 

What's evident from face, how to conceal ? 
According to your wish, how can I reveal ? 

होश वालों को ख़बर क्या बे-ख़ुदी क्या चीज़ है ? 
इश्क़ कीजे फिर समझिए ज़िन्दगी क्या चीज़ है ?....... निदा फ़ाज़ली....... 

What's ecstasy, those who are conscious, aren't aware. 
You will know what is life, just get in a love affair. 

बे- ख़ुदी ले गई कहाँ हम को। 
देर से इंतिज़ार है अपना।.... मीर तक़ी मीर..... 

To me where has ecstasy brought ? 
I am waiting for myself in thought. 

अच्छा ख़ासा बैठा बैठा गुम हो जाता हूँ। 
अब मैं अक्सर मैं नहीं रहता तुम हो जाता हूँ।...... अनवर शऊर...... 

Suddenly I lose composure from what looks due. 
It is quite often I am not I, but look like you. 

न जी भर के देखा न कुछ बात की। 
बड़ी आरज़ू थी मुलाक़ात की। 
........ बशीर बद्र...... 

Neither with talk nor sight acquired. 
Meeting with you was much desired. 

अब इन हुदूद में लाया है इंतिज़ार मुझे। 
वो आ भी जाएँ तो आए न ऐतबार मुझे। 
....... ख़ुमार बारहबंकवी..... 

Now waiting has brought me within that extent. 
Even if she comes, to believe isn't my intent. 

कहीं वो आ के मिटा दे न इंतिज़ार का लुत्फ़। 
कहीं क़ुबूल न हो जाए इल्तिजा मेरी। 
........ हसरत जयपुरी ...... 

Her arrival may not erase the waiting pleasure. 
How I wish my request not be taken to measure. 

अंदाज़ हू-ब-हू तिरी आवाज़-ए-पा का था। देखा निकल के घर से तो झोंका हवा का था।..... अहमद नदीम क़ासमी..... 

The style was exactly that of your foot fall. 
I got out of home to find it was wind's call. 

मुस्तक़िल बोलता ही रहता हूँ। 
कितना ख़ामोश हूँ मैं अंदर से। 
...... जौन एलिया..... 

I am talking all the time. 
Am silent within, all time

तुम से बिछड़ कर ज़िंदा हैं। 
जान बहुत शर्मिंदा हैं।.. इफ़्तिख़ार आरिफ़

Departed, alive, unknown. 
Love I'm ashamed of my own. 

बिछड़ा कुछ इस अदा से कि रुत ही बदल गई। 
इक शख़्स सारे शहर को वीरान कर गया।..... ख़ालिद शरीफ़....... 

She left with a style, weather changed it's role. 
One person has deserted the city as a whole. 

मैं तो समझा था कि लौट आते हैं जाने वाले। 
तूने जाकर तो जुदाई मिरी क़िस्मत कर दी।...... अहमद नदीम क़ासमी...... 

I had thought, those who left returned some date. 
You left and made this departure my fate. 

साथ जब तक वो रहें दर्द जमा रहता है। 
फैलता जाता है फिर आँख के काजल की तरह।...... परवीन शाकिर..... 

Pain accumulates as long as he stays. 
Then like kohl of the eyes, it sways. 

वो आएँ घर में हमारे ख़ुदा की क़ुदरत है। 
कभी हम उन को कभी अपने घर को देखते हैं।..... ग़ालिब....... 

She has come to my home by God's grace. 
I look at my home and then at her face. 

सरफरोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में है। 
देखना है ज़ोर कितना बाज़ू-ए-क़ातिल में है।..... बिस्मिल अज़ीमाबादी....... 

There's rebellion now in my heart. 
O have to find the power on 
killer's part. 

अब तो जाते हैं बुत-क़दे से 'मीर'। 
फिर मिलेंगे अगर ख़ुदा लाया... मीर 

O'Mir'I am leaving temple now. 
God sent, I 'd come somehow. 

न पैमाने छलकते हैं न दौर-ए-जाम चलता है। 
नई दुनिया के रिंदों में ख़ुदा का नाम चलता है। 
Neither wine splashes out, nor goes on round about. 
The drunkards of new world, keep humming God' s word. 

उठा जो मीना-ब-दस्त साक़ी रहा न कुछ ताब-ए-ज़ब्त बाक़ी। 
तमाम मय-कश पुकार उट्ठे इधर से पहले इधर से पहले। 

When wine girl goblet raised, bars on hold were razed. 
From drunkards one could hear, start from here, from here. 

ग़म-ए-हयात भी आग़ोश-ए-हुस्न-ए-यार में है। 
ये वो ख़िज़ाँ है कि डूबी हुई बहार में है। 

Sorrows of life are astute, in embrace of lover so cute. 
This autumn in it's swing, is soaked so well in spring. 

दिल की तरफ़ 'शकील' तवज्जोह ज़रूर हो। 
ये घर उजड़ गया तो बसाया न जाएगा। 

O'Shakeel'towards heart, attention is a must. 
This home can't be built, if it's razed to dust. 

ऐरूह क्या बधन में पड़ी है बदन को छोड़। 
मैला बहुत हुआ है अब इस पैरहन को छोड़।...... अमीर मीनाई...... 

 Why are you after my body, leave it O soul. 
This dress has got dirty, leave it as a whole. 

तू अगर ख़ुद्दार हैमिन्नत कश-ए-साक़ी न कर। 
ऐन दरिया में हुबाब आसा नगूँ पैमाना कर।...... इक़बाल....... 

If you have self respect, for bar maid's favour, don't long. 
Inside mid stream, collect bubbles in your cup so strong. 

वाए नाकामी मता-ए-कारवाँ जाता रहा। 
कारवाँ के दिल से अहसास-ए-ज़ियाँ जाता रहा। 

All belongings of caravan were looted, it was misfortune. 
Feeling of having lost it is gone, well that's out of tune. 

वो मज़ा दिया ख़लिश ने कि ये आरज़ू है यारब। 
मेरे दोनों पहलुओं में दिल-ए-बे-क़रार होता। 

It gave me so much pleasure O God I so desire..
 In either side of body, there be one heart on fire. 

क़रीब है यारो रोज़-ए-महशर , छुपेगा कुश्तों का ख़ून क्यों कर। 
जो चुप रहेगी ज़ुबान - ए-ख़ंजर, लहू पुकारेगा आस्तीं का। 

Doomsday is drawing near, can't hide slain blood O dear. 
If blade of sword keeps mum, blood stains on arm 'll appear. 

उसे पाक नज़रों से चूमना भी इबादतों में शुमार है। 
कोई फूल लाख क़रीब हो कभी मैंने उसको छुआ नहीं।..... बशीर बद्र...... 

Kissing her with pious looks is a prayer on my part. 
Too close may a flower be, I  touched it not from start. 

फ़र्द क़ायम रब्त-ओ-मिल्लत से है तन्हा कुछ नहीं। 
मौज है दरिया से और बे-रून-ए-दरिया कुछ नहीं।..... इक़बाल...... 

A person exists in company, not when he is alone. 
Wave is within a river, nothing when overflown. 

रफ़अत में मक़ासिद को हम दोश-ए-सुरैया कर। 
ख़ुद्दारी-ए-साहिल दे आज़ादी - ए-दरिया दे।...... इक़बाल..... 

तर्क - ए-तआल्लुक़ात पे रोया न तू न मैं। 
लेकिन ये क्या कि चैन से सोया न तू न मैं।
........ ख़ालिद अहमद...... 

Renouncing our relationship, neither you wept nor I. 
But how is it that peacefully, neither you slept nor I. 

ऐ शम'अ तेरी उम्र तबीई है एक रात। 
हँस कर गुज़ार या इसे रो कर गुज़ार दे। 

O candle, your life is just one night. 
You may pass it crying or smiling outright. 

लाई हयात आए क़ज़ा ले चली चले। अपनी ख़ुशी न आए न अपनी ख़ुशी चले। 
Life brought us here, death carried us away. 
Neither we came on our own,
 nor will go away. 

क्या नज़ाकत थी कि आरिज़ उन के नीले पड़ गए। 
हम ने तो बोसा लिया था ख़्वाब में तस्वीर का। 

Her cheeks turned blue, she is so delicate.
 I had kissed her photo in dream, of late. 

ये आरज़ू भी बड़ी चीज़ है मगर हमदम। विसाल - ए-यार फ़क़त आरज़ू की बात नहीं।..... फ़ैज़ अहमद फ़ैज़..... 

Desire is a great thing but my friend. 
Meeting her not just desire offhand. 

कर रहा था ग़म-ए-जहाँ का हिसाब। 
आज तुम याद बे-हिसाब आए। 
....... फ़ैज़ अहमद फ़ैज़..... 

For griefs of world I was keeping accounts. 
You sneaked in memory beyond all counts. 

आख़िर दुआ करें भी तो किस मुद्दआ के साथ। 
कैसे ज़मीं की बात कहें आसमाँ से हम ? 
 
........ अहमद नदीम क़ासमी..... 

On what a pretext should I pray. 
How earthly things to sky can I say ? 

साथ उसके हूँ मैं साए की मानिंद तो लेकिन। 
उस पर भी जुदा हूँ कि लिपटना नहीं आता..... ज़ौक़.... 

I am with her like a shadow but still. 
Am apart, don't have embracing skill. 

बंदगी में भी वोआज़ादह ख़ुदबीं हैं कि हम
उल्टे फिर आए दर-ए-काबा अगर वा न हुआ।..... ग़ालिब.... 

Even while praying I feel free, have self esteem. 
I turned back if doors of Kaaba weren't open to scheme. 









 





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