Tuesday, 6 September 2022

NAWAAZ ASEEMII.. GHAZAL.. HAWAA KE ZOR SE JAB BAADBAAN PHATNE LAGE...

हवा के ज़ोर से जबबादबान फटने लगे 
मुसाफ़िर अपने ख़ुदाओं के नाम रटने लगे 

When sails were getting torn in the storm.
Passengers chanted God's 
name in any form. 

हमारे सीनों पे अब भी बहुत जगह है जनाब 
मगर तुम्हारे ही तरकश में तीर घटने लगे 

There's still some space left in our chests. 
But in your quiver, arrows are lesser than norm. 

यज़ीद-ए-वक़्त हुआ जिस घड़ी से तख़्त-नशीं ruler
हमारे नाम के ख़ंजर हर इक में बटने लगे 

When the ruler became tyrant, at that time. 
Daggers were disbursed to each one in form. 

मकान हम ने बना तो लिया किनारे पर 
न ऐसा हो के किनारे की रेत कटने लगे 

We have built a house on the river shore. 
But what if shore sand is cut 
to lose form. 

तुम्हारी ख़ुशियाँ भी मेरी हैं ग़म भी मेरे हैं 
ये माल-ए-मुफ़्त नहीं जो हर इक झपटने लगे

Your pleasures are mine and griefs too. 
These aren't freebies to be pounced as norm. 

इसे चराग़ का रुत्बा कहूँ या रो'ब कहूँ 
हवा के पर मिरी दहलीज़ पर सिमटने लगे 

Should I call it the status or fear of lamp? 
Wind wings shrank on my threshold in form. 

ये किस ने फेंका है पत्थर धधकते शो'लों पर 
शरारे हो के जुदा आग से उचटने लगे 

Who has thrown stone on blazing flames. 
Separated from fire,the sparks
 lost charm. 

बहुत था ज़ोम जिन्हें अपनी शह-सवारी पर 
गिरे कुछ ऐसे के सीने के बल घिसटने लगे

Those who were proud of horse riding skills. 
They fell on chest to be dragged out of form. 
 
तेरे महल के हिसारों की ईंट झड़ने लगीं 
न ऐसा हो तेरा शाही वक़ार घटने लगे 

The bricks of your fences are falling apart. 
May be it will reduce your dignified form. 

हुए हैं शहर-बदर हम मगर ख़ुदा न करे 
मकान धंसने लगें और ज़मीं पलटने लगे 

We are exiled from city but O God save it. 
Let not houses collapse, earth convulse form. 

'नवाज़' हम ही थे जो रास्ता नहीं बदला 
वो ज़लज़ले थे के दरिया भी रह से हटने लगे 

'Nawaaz! It was I who
 kept  firm on route. 
Earthquake was such, riverways lost form. 



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